मैं ज्योतिष सीखना चाहता हूँ पर समझ में नहीं आ रहा है कि कहाँ से शुरू करूँ । कृपया कुछ पुस्तकें बताएँ जिससे ज्योतिष में प्रवेश सरल हो सके...
पुर्ननवाया मूलं तु शुभ्रं गोघतमिश्रितम् । अंजितं हरति क्षिप्रं नेत्रान्तोरगता रूज: ।।
somrajibhavam bijam nistusham nanu karyet tasya kuryatataschurnam pal matram pibetatah
पिछले कल और आने वाले कल को संस्कृत में क्या कहते हैं ???
संहृत्य लोकान्वटपत्रमध्ये शयानमाद्यन्तविहीनरूपम् । सर्वेश्वरं सर्वहितावतारं बालं मुकुन्दं मनसा स्मरामि ॥ इसका हिन्दी में अर्थ बताएं
meaning
मंत्रार्था सफला संतु पूर्णा संतु मनोरथा पूरे मंत्र का अर्थ
निवेदन है, अभी आप सभी के प्रश्नों का उत्तर शीघ्र नही मिल पा रहा है, शीघ्र ही संस्कृतजगत इसमें सुधार करेगा जिससे आपके प्रश्न पूछते ही नोट...
नामसङ्कीर्तनं यस्य सर्वपापप्रणाशनम् । प्रणामो दुःखशमनः तं नमामि हरिं परम् ॥ कृष्णाय वासुदेवाय हरये परमात्मने । प्रणतक्लेशनाशाय गोव...